नीति आयोग (NITI Aayog) के उपाध्यक्ष राजीव कुमार (Rajiv Kumar) ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. बता दें कि नीति आयोग देश के लिए योजनाएं बनाने का काम करता है. राजीव कुमार नीति आयोग के उपाध्यक्ष के तौर पर कई सालों से काम कर रहे थे. अभी तक उनके इस्तीफा देने के कारणों की जानकारी सामने नहीं आ सकी है. नीति आयोग की अध्यक्षता प्रधानमंत्री करते हैं. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक उनकी जगह पर अर्थशास्त्री सुमन बेरी नीति आयोग के अगले उपाध्यक्ष बनाए जा सकते हैं.
बता दें कि साल 2014 में सत्ता में आने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने योजना आयोग का नाम बदलकर नीति आयोग कर दिया था. इस आयोग के बनाए जाने के बाद अरविंद पनगढ़िया नीति आयोग के पहले उपाध्यक्ष बनाए गए थे. अरविंद पनगढ़िया के इस्तीफा देने के बाद राजीव कुमार को 1 सितंबर 2017 को नीति आयोग का उपाध्यक्ष बनाया गया था. राजीव कुमार नीति आयोग की दूसरे उपाध्यक्ष थे. नीति आयोग के उपाध्यक्ष बनने से पहले राजीव कुमार फिक्की के महासचिव थे. राजीव कुमार ने साल 1995 से 2005 के दौरान एशियन डेवलपमेंट बैंक के मुख्य अर्थशास्त्री के रूप में काम किया था. यही नहीं एशियन डेवलपमेंट बैंक के साथ जुड़ने से पहले राजीव कुमार 1992 से 1995 तक वित्त मंत्रालय के आर्थिक सलाहकार रह चुके थे.
सुमन बेरी होंगे अगले वाइस चेयरमैन
Dr Suman K Bery appointed as Vice-Chairman of the NITI Aayog after Dr Rajiv Kumar stepped down from his post. pic.twitter.com/6vQ9HWUSNJ
— ANI (@ANI) April 22, 2022
कौन हैं राजीव कुमार?
नीति आयोग की वेबसाइट के अनुसार डॉ राजीव कुमार के पास शिक्षा जगत, सरकार, और उद्योग के साथ काम करने का काफी अनुभव है. ऑक्सफोर्ड से उच्च शिक्षा पूरी करने के बाद उन्होने इंडियन काउंसिल फॉर रिसर्च ऑन इंटरनेशनल इकोनॉमिक रिलेशन दिल्ली में एक प्रोग्राम कोऑर्डिनेटर के रूप में काम किया. यहां वो साल 1982 से 87 के बीच रहे. 1987-89 के बीच वो इंडियन इस्टीट्यूट ऑफ फॉरेन ट्रेड में प्रोफेसर रहे. बाद में वो आईसीआरआईईआर में 2006 से 2011 के बीच डायरेक्टर और सीईओ भी रहे. बाद में वो सेंटर फॉर पॉलिसी रिसर्च में सीनियर फेलो रहे.
साल 2013 में पहल इंडिया फाउंडेशन की स्थापना की
2013 में पहल इंडिया फाउंडेशन की भी स्थापना की जो कि एक नॉन प्रॉफिट थिंक टैंक है. राजीव 2017 तक इसके प्रमुख के रूप में काम करते रहे. सरकार के साथ काम करने उनका लंबा अनुभव रहा है. वो उद्योग मंत्रालय के सीनियर कंसल्टेंट, आर्थिक मामलों के विभाग, वित्त मंत्रालय के वो आर्थिक सलाहकार रहे. इसके साथ ही उन्होने एडीबी, विश्व बैंक, सीआईआई, फिक्की, स्टेट बैंक और रिजर्व बैंक के साथ भी काम किया है.